प्रवर्तन निदेशालय ने नेशनलिस्ट कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) के मुखिया शरद पवार के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है. साथ ही अजित पवार, आनंद राव, जयंत पाटिल के खिलाफ स्टेट कोऑपरेटिव बैंक स्कैम मामले में एफआईआर दर्ज की गई है.


महाराष्ट्र राज्य सहकारी बैंक घोटाले का मामला अभी सुप्रीम कोर्ट में है. दरअसल, 22 अगस्त को बॉम्बे हाई कोर्ट ने मुंबई पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्ल्यू) को महाराष्ट्र स्टेट को-ऑपरेटिव बैंक घोटाले में पूर्व उप मुख्यमंत्री अजित पवार समेत 70 लोगों पर मामला दर्ज करने का आदेश दिया था.



मुंबई पुलिस ने महाराष्ट्र राज्य सहकारी बैंक (एमएससीबी) घोटाला मामले में बंबई हाईकोर्ट के निर्देशों पर 26 अगस्त को एनसीपी के वरिष्ठ नेता और पूर्व उपमुख्यमंत्री अजित पवार और अन्य पदाधिकारियों के खिलाफ मामला दर्ज किया था. एनसीपी प्रमुख शरद पवार के भतीजे अजित पवार 10 नवंबर 2010 से 26 सितंबर 2014 तक उपमुख्यमंत्री रहे थे.



राष्ट्रीय कृषि और ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) की जांच के साथ ही महाराष्ट्र को-ऑपरेटिव सोसायटीज कानून के तहत अर्द्ध न्यायिक जांच आयोग की तरफ से दायर आरोप पत्र में नुकसान के लिए पवार और अन्य आरोपियों के ‘निर्णयों, कार्रवाई और निष्क्रियताओं’ को जिम्मेदार ठहराया गया था. स्थानीय कार्यकर्ता सुरिंदर अरोड़ा ने 2015 में ईओडब्ल्यू में शिकायत दर्ज कराई और हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाकर प्राथमिकी दर्ज करने की मांग की थी.


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