दुष्कर्म मामले में भगोड़ा आरोपी नित्यानंद फिर एक बार सुर्खियों में है। खुद को भगवान कहने वाले इस विवादित धर्मगुरु ने कथित रूप से दक्षिण अमेरिकी देश इक्वाडोर के पास एक नया देश कैलासा बसाया है। कहा जा रहा है कि कैलासा को अंतरराष्ट्रीय मान्यता दिलवाने के लिए नित्यानंद की टीम संयुक्त राष्ट्र संघ में अपील करने वाली है।

 

कौन है नित्यानंद
नित्यानंद का वास्तविक नाम ए राजशेखरन है। उसकी जीवनी के अनुसार, नित्यानंद ने बचपन से योग, तंत्र, वेदांत और शैव दर्शन का अध्ययन किया। वह बचपन से ही मंदिर जाया करता था। उसकी शिक्षा रामकृष्ण मठ में हुई। 

 

विवादों से है गहरा नाता
तथाकथित धर्मगुरु नित्यानंद साल 2010 में पहली बार विवादों में घिरा। दक्षिण भारत की सन टीवी ने नित्यानंद का एक अश्लील वीडियो जारी किया, जिसमें वह दक्षिण भारत की एक अभिनेत्री के साथ दिखा। हालांकि नित्यानंद ने आरोप लगाया था कि वीडियो से छेड़छाड़ की गई है। जांच के बाद पाया गया कि वीडियो से कोई छेड़छाड़ नहीं की गई थी और वह वीडियो क्लिप असली था। 

 

 

जन्म की तारीख भी विवादों में
नित्यानंद के जन्म की तारीख भी विवादित है। 2003 में अमेरिका का वीजा लेते समय इसने अपनी जन्मतिथि 13 मार्च 1977 बताया। जबकि, कर्नाटक हाईकोर्ट को दिए गए हलफनामे में उसकी जन्मतिथि एक जनवरी 1978 बताई गई है। कहा जाता है कि नित्यानंद का मैकेनिकल इंजीनियरिंग में ली गई डिप्लोमा भी फर्जी है।

 

नित्यानंद पीठम की स्थापना और बना मठाधीश
2000 में उसने कर्नाटक के बिदादी में नित्यानंद ध्यानपीठम की स्थापना की। 2003 में उसने अमेरिका के लॉस एंजिलिस में लाइफ ब्लिस फाउंडेशन की स्थापना की। नित्यानंद ध्यानपीठम में योग, मेडिटेशन और कई तरह के फिटनेस कोर्स चलते थे। इसकी पीठ ने कई देशों में मंदिर, आश्रम और गुरुकुल भी बनवाए हैं। साल 2012 में उस पर दुष्कर्म का आरोप लगा। पांच दिन तक फरार रहने के बाद नित्यानंद ने आत्मसमर्पण कर दिया था। हालांकि बाद में उसे कोर्ट से जमानत मिल गई थी। इसके अलावा नवंबर में तमिलनाडु में रहने वाले एक दंपती ने नित्यानंद पर अपनी बेटियों के अपहरण का आरोप लगाया। दंपती ने गुजरात उच्च न्यायालय में याचिका दायर कर अपनी दोनों बेटियों को अहमदाबाद स्थित आश्रम से मुक्त कराने की मांग की।

 

 

लंबा है इसके झूठ बोलने का इतिहास
इसने अपने प्रशंसकों से कहा था कि मैं चाहूं तो किसी भी जानवर से संस्कृत और तमिल में बात कर सकता हूं। दूसरी बार इसने दावा किया कि एक बार इसने बंगलूरू में सूरज को 40 मिनट तक उगने से रोक दिया था। इतना ही नहीं, इसने एक बार तो आइंस्टीन के प्रसिद्ध रिलेटिविटी थ्योरी को ही गलत साबित करने की कोशिश की। इसका यह वीडियो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हुआ था। इसके अलावा इसने लोगों के तीसरे आंख को खोलने का दावा किया था।

 

सोशल मीडिया पर प्रशंसकों की भरमार
भले ही नित्यानंद भारत से फरार हो चुका है लेकिन वह ट्विटर पर अब भी सक्रिय है। ट्विटर पर उसे लगभग 20 हजार लोग फॉलो करते हैं। जबकि, फेसबुक पर इसके 10 लाख से ज्यादा फॉलोवर हैं।

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