नयी दिल्ली। संसद के बजट सत्र का दूसरा चरण सोमवार यानी 2 मार्च से शुरू होने जा रहा है। ऐसा माना जा रहा है कि बजट सत्र के दूसरे चरण में सदन में भारी हंगामा हो सकता है। कांग्रेस दिल्ली हिंसा और अर्थव्यवस्था के मुद्दे पर सरकार को घेरने के लिए तैयार है। हालांकि, सरकार अपने विधायी एजेंडे को आगे बढ़ाएगी, जिसमें सरोगेसी से संबंधित बिल और टैक्स से संबंधित विवाद शामिल है।

 

सूत्रों के मुताबिक, 29 फरवरी को कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के घर पर एक बैठक आयोजित की गई थी, जिसमें दिल्ली हिंसा पर संसद में सरकार को घेरने की रणनीति पर चर्चा की गई। इससे पहले ही दिल्ली हिंसा को लेकर कांग्रेस समेत कुछ विपक्षियों पार्टियों ने गृह मंत्री अमित शाह से इस्तीफे की मांग की थी. जाहिर है कि संसद में भी इस पर हंगामा होगा.

 

कांग्रेस ने सत्र के शुरू होने से पहले ही बीजेपी सरकार पर भारतीय अर्थव्यवस्था को बर्बाद करने का आरोप लगाया है। विपक्षी पार्टियां जीडीपी ग्रोथ को पहले ही मुद्दा बना रही है।

 

कांग्रेस नेता आनंद शर्मा ने शनिवार को कहा कि ‘तीसरी तिमाही में जीडीपी 4.7 प्रतिशत थी और लगातार सातवीं तिमाही भी जीडीपी गिर गई है।’

 

नॉर्थ ईस्ट दिल्ली में हुई हिंसा के मुद्दे पर विपक्षी पार्टियों ने कमर कस ली है। दिल्ली हिंसा में अब तक 42 लोगों की मौत हो गई है। वहीं, सैकड़ो लोग घायल हुए हैं। विपक्षी पार्टियों ने पहले ही दिल्ली हिंसा को 1984 के सिख दंगे से तुलना कर सरकार की आलोचना की है। वहीं, इस मामले की जांच अभी शुरू ही हुई है तो ऐसे में सरकार के पास भी इस सवाल पर अपने बचाव में शायद ज्यादा कुछ नहीं होगा।

 

संसद के बजट सत्र के पहले चरण में सीएए के मुद्दे पर पहले ही खुब हंगामा हो चुका है। शाहिन बाग समेत देश के विभिन्न राज्यों में अभी भी सीएए के खिलाफ प्रदर्शन जारी है। ऐसे में साफ है कि बजट सत्र के दूसरे चरण में भी ये मुद्दा छाया रहेगा।

 

बजट सत्र का दूसरा चरण 2 मार्च से शुरू होनेवाला है और यह 3 अप्रैल को समाप्त होगा। एक महीने तक चलने वाले इस सत्र में संसद में शायद विपक्ष सरकार पर भारी दिखने वाली है। देखना ये होगा की सरकार अपना बचाव कैसे करती है।

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