पटना। भारी बारिश और पुनपुन नदी में उफान के चलते पटना में जलभराव कई दिनों से बरकरार है। ठहरे हुए पानी में मच्छरों के पनपने से बिहार की राजधानी में डेंगू का प्रकोप फैलने की आंशका बढ़ गई है। आधिकारिक आंकड़े के मुताबिक, बीते चार दिनों में बुखार के 640 मरीज जांच में डेंगू पॉजिटिव पाए गए हैं। अनाधिकारिक तौर पर बताया गया है कि पटना शहर में डेंगू के मरीजों की संख्या 800 तक पहुंच सकती है।


चिकित्सा अधिकारियों के अनुसार, पटना के जिन इलाकों में जलभराव है, वहां डेंगू तेजी से फैल रहा है।


राजेंद्र नगर, गोला रोड, पाटलिपुत्र जैसी पॉश कालोनियों में बारिश के आठ दिनों बाद भी गंदा और बदबूदार पानी भरे रहने से चिकित्सा अधिकारियों की चिंता बढ़ गई है। कई इलाकों से हालांकि पानी निकल चुका है।


बिहार स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव संजय कुमार ने हालांकि राज्य की राजधानी में डेंगू के प्रकोप से इनकार किया। उन्होंने कहा, "जैसा कि विशेषज्ञों का कहना है, पटना में डेंगू के प्रकोप का कोई संकेत नहीं है।" उन्होंने हालांकि स्वीकार किया कि संक्रामक रोगों के फैलने की आशंका अवश्य है।


उनके अनुसार, समूचे पटना में मच्छरों को मारने के लिए 'टेमिफोस' का छिड़काव करने में 24 टीमों को लगाया गया है। समूचे राज्य में डेंगू के अब तक 900 मामले सामने आए हैं, जिनमें से सिर्फ पटना में 640 मामलों की पुष्टि हुई है।


राजकीय पटना मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल (पीएमसीएच) के उपाधीक्षक रणजीत कुमार जैमियार ने कहा कि डेंगू के मरीजों की संख्या बढ़ रही है। पटना के सिविल सर्जन आर.के. चौधरी ने कहा कि मामले बढ़ते देखकर सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में डेंगू की जांच के इंतजाम किए गए हैं।


आज की तारीख तक पटना में जलभराव कायम है। राज्य में बाढ़ से 73 लोगों की मौत हुई है और 20 लाख से अधिक लोग प्रभावित हैं।

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